खुले में शौच जाने की आदत छुड़वाने के लिए जारी रहेगा रोको-टोको, सीटी बजाओं अभियान
उत्तरी दिल्ली नगर निगम के 14 वार्डों में सार्वजनिक शौचालय की सुविधा उपलब्ध कराने के साथ ही उत्तरी दिल्ली नगर निगम के सभी 104 वार्ड अब खुले में शौच से मुक्त हो गए हैं;
नई दिल्ली। उत्तरी दिल्ली नगर निगम के 14 वार्डों में सार्वजनिक शौचालय की सुविधा उपलब्ध कराने के साथ ही उत्तरी दिल्ली नगर निगम के सभी 104 वार्ड अब खुले में शौच से मुक्त हो गए हैं।
दरअसल, राजधानी के स्थानीय निकाय शहर को स्वच्छ बनाने की कवायद में जुटे हैं, जिसके तहत खुले में शौच जाने जैसी समस्या से निपटने के लिए विशेष रूप से चिन्हित स्थानों पर प्रत्येक 500 मीटर की दूरी पर शौचालय बनाए गए हैं। जिन्हें गूगल नक्शे में अपडेट किया गया है, ताकि नागरिक अपनी सुविधा के मुताबिक नजदीकी शौचालयों का इस्तेमाल कर सकें और फीडबैक भी दे सकें। सोमवार को सिविक सेंटर में आयोजित प्रेस वार्ता में महापौर प्रीति अग्रवाल ने बताया कि 31 दिसंबर 2017 से उत्तरी दिल्ली नगर निगम खुले में शौच से मुक्त हो गया है।
इसके लिए स्वच्छ भारत मिशन के तहत पर्याप्त संख्या में सार्वजनिक और सामुदायिक शौचालयों की व्यवस्था की गई है। उन्होंने बताया कि क्षेत्र में 314 सामुदायिक शौचालय हैं, जिनमें पुरुषों के लिए 3508 सीटें और महिलाओं के लिए 3232 सीटें है। इसके अलावा सार्वजनिक शौचालयों में पुरुषों के लिए 2063 सीटें और महिलाओं के लिए 3256 सीटें उपलब्ध है।
इनमें उत्तरी निगम के अधिकार क्षेत्र के तहत आने वाले पैट्रोल पंप, रेस्टोरेंट, मैट्रो स्टेशन और लोक निर्माण विभाग के शौचालयों की सीटें भी शामिल हैं। अग्रवाल ने कहा कि इस संबंध में सभी सार्वजनिक और निजी एजेंसियों को आवश्यक दिशा निर्देश जारी किये जा चुके है ताकि आम नागरिकों को वे अपने परिसर में शौचालयों का उपयोग निर्विरोध करने दे।
वहीं, निगमायुक्त मधुप व्यास ने बताया कि किसी भी व्यक्ति को खुले में शौच से रोकने के लिए रोको-टोको और सीटी बजाओं अभियान जारी रखा जाएगा। इसके लिए न केवल नये शौचालयों का निर्माण किया गया है बल्कि क्षेत्र को खुले में शौच से मुक्त बनाने के लिए जनआंदोलन भी चलाया गया है। उन्होंने कूड़े को स्त्रोत पर ही पृथक-पृथक करने की आवश्यकता पर जोर दिया है।
इस अवसर पर उत्तरी दिल्ली नगर निगम के प्रेस एवं सूचना निदेशालय द्वारा प्रकाशित वार्षिक डायरी का लोकार्पण महापौर प्रीति अग्रवाल व निगमायुक्त मधुप व्यास द्वारा किया गया। गौरतलब है कि दक्षिणी दिल्ली नगर निगम के 104 वार्ड और पूर्वी दिल्ली नगर निगम के 64 वार्ड बीते 2 अक्टूबर को ही खुले में शौच से मुक्त घोषित किये जा चुके हैं।