पलानीस्वामी साबित करें बहुमत : डीएमके

डीएमके ने मद्रास उच्च न्यायालय में एक याचिका दाखिल कर राज्यपाल द्वारा मुख्यमंत्री पलानीस्वामी को विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए तत्काल दिशा-निर्देश देने की मांग की है;

Update: 2017-09-12 20:17 GMT

चेन्नई। डीएमके ने मद्रास उच्च न्यायालय में एक याचिका दाखिल कर राज्यपाल द्वारा मुख्यमंत्री पलानीस्वामी को विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए तत्काल दिशा-निर्देश देने की मांग की है। डीएमके के कार्यवाहक अध्यक्ष स्टालिन ने संवाददाताओं से कहा कि पार्टी ने उच्च न्यायलय में एक मामला दाखिल किया है। 

स्टालिन ने कहा कि उन्होंने अदालत से आग्रह किया है कि राज्यपाल सी. विद्यासागर राव लोकतांत्रिक सिद्धांतों के आधार पर निर्णय लें। 

स्टालिन के नेतृत्व में रविवार को विपक्षी दलों का प्रतिनिधिमंडल राज्यपाल से मिला और राव से एक सप्ताह में विधानसभा सत्र बुलाने का अनुरोध किया ताकि पालानीस्वामी बहुमत साबित कर सकें । 

उन्होंने कहा, "हमने राज्यपाल से एक हफ्ते में विधानसभा सत्र के लिए आग्रह किया है। अगर ऐसा नहीं किया गया है, तो हम न्यायालय और लोगों के बीच भी पहुंचेंगे।"

तमिलनाडु में 235 सदस्यीय विधानसभा में जयललिता की मौत के बाद अब 234 सदस्य हैं, जिनमें से एक नामांकित सदस्य शामिल है जो मत का प्रयोग नहीं कर सकता। 

स्टालिन ने कहा, "सत्तारूढ़ पार्टी के पास केवल 114 विधायकों का समर्थन है, जबकि सरकार के विरोध में विधायकों की संख्या 119 है।" 

स्टालिन ने रविवार को राज्यपाल राव को लिखे पत्र में कहा, "राज्य में केवल एक लोकतांत्रिक ढंग से चुनी गई सरकार, जिसे निर्वाचित प्रतिनिधियों का बहुमत हो वही शासन कर सकती है।" 

स्टालिन ने राव से कहा, "यदि वर्तमान अल्पसंख्यक सरकार को आपके अच्छे स्वभाव के कारण आगे कार्य जारी रखने के लिए अनुमति दी जाती है, तो यह संसदीय लोकतंत्र के मूलभूत संवैधानिक सिद्धांतों और सर्वोच्च न्यायालय द्वारा निर्धारित संवैधानिक सिद्धांतों के खिलाफ होगा।"

तमिलनाडु के मुख्यमंत्री पलानीस्वामी ने शनिवार को दावा किया था कि विधानसभा में एआईएडीएमके को 134 विधायकों का सर्मथन प्राप्त है और वह बहुमत उनके पास है।

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