जामिया मस्जिद विवाद : श्रीरंगपट्टनम में हनुमान भक्तों को रोकने के लिए कर्नाटक पुलिस ने कसी कमर

कर्नाटक के मांड्या जिले के श्रीरंगपट्टनम शहर में स्थित जामिया मस्जिद में दक्षिणपंथी समूहों द्वारा घुसने और पूजा करने की धमकी के बीच अधिकारियों ने अब कमर कस ली है;

Update: 2022-06-04 10:13 GMT

मांड्या (कर्नाटक)। कर्नाटक के मांड्या जिले के श्रीरंगपट्टनम शहर में स्थित जामिया मस्जिद में दक्षिणपंथी समूहों द्वारा घुसने और पूजा करने की धमकी के बीच अधिकारियों ने अब कमर कस ली है।

मांड्या जिले में स्थित श्रीरंगपट्टनम किले के अंदर स्थित जामिया मस्जिद में पूजा करने की योजना बना रहे हनुमान भक्तों और दक्षिणपंथी संगठनों से जुड़े कार्यकर्ताओं को रोकने के लिए कर्नाटक पुलिस के जवानों को तैनात किया गया है।

शहर में किसी भी तरह की अप्रिय घटना से बचने के लिए जिला प्रशासन ने पहले ही तीन जून की शाम से पांच जून की सुबह तक निषेधाज्ञा (धारा-144) जारी कर दी थी।

विश्व हिंदू परिषद (विहिप) और बजरंग दल ने सभी कार्यकताओं से शनिवार को श्रीरंगपट्टनम में एकत्रित होने का आह्वान किया है। उन्होंने जामिया मस्जिद में प्रवेश करने और वहां पूजा-अर्चना करने की योजना बनाई है।

यह आह्वान जिला प्रशासन द्वारा वाराणसी में ज्ञानवापी मस्जिद की तर्ज पर मस्जिद का सर्वेक्षण कराने की उनकी मांग का जवाब नहीं देने की पृष्ठभूमि में दिया गया है।

श्रीराम सेना के संस्थापक प्रमोद मुतालिक ने भी मस्जिद का सर्वेक्षण कराने में हो रही देरी के विरोध में 'श्रीरंगपट्टनम चलो' आंदोलन को समर्थन दिया है।

सूत्रों ने कहा कि पुलिस ने सूचित किया है कि वे हिंदू भक्तों और कार्यकर्ताओं को श्रीरंगपट्टनम में प्रवेश करने से रोकेंगे। हालांकि, उन्हें एक निश्चित बिंदु तक प्रार्थना करने और भजन गाने की अनुमति होगी, जिसके आगे उन्हें अनुमति नहीं दी जाएगी। विरोध करने पर गिरफ्तारी भी की जाएगी।

विहिप नेता पुनीत ने कहा कि निषेधाज्ञा के मद्देनजर उन्होंने जामिया मस्जिद में प्रवेश करने की योजना छोड़ दी है।

उन्होंने आईएएनएस से कहा, "हम शांतिपूर्वक इकट्ठा होंगे और भजन गाएंगे। हमने इस संबंध में जिला अधिकारियों से अनुमति मांगी है।"

उन्होंने कहा, "अधिकारियों को मौके पर आना होगा और स्पष्ट करना होगा कि मस्जिद का सर्वेक्षण कब किया जाएगा। अन्यथा हम कानूनी रूप से आगे बढ़ेंगे।"

जामिया मस्जिद का निर्माण मैसूर के पूर्व शासक टीपू सुल्तान ने करवाया था। लेकिन हिंदू कार्यकर्ताओं का दावा है कि एक हनुमान मंदिर को तोड़कर मस्जिद का निर्माण किया गया था।

मस्जिद, जिसे मस्जिद-ए-आला भी कहा जाता है, श्रीरंगपट्टनम किले के अंदर स्थित है। इसका निर्माण 1786-87 में टीपू सुल्तान के शासन काल में हुआ था। मस्जिद में तीन शिलालेख हैं, जिनमें पैगंबर मुहम्मद के नौ नामों का उल्लेख है।

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