बोरो रेंज में हाथियों का उत्पात, 6 मकान तोड़े

धरमजयगढ़ के बोरे में पांच हाथियों ने जमकर उत्पात मचाया इससे करीबन आधा दर्जन ग्रामीणों के मकान को तो बूरी तरह से तहस नहस कर दिया है;

Update: 2018-05-26 11:34 GMT

रायगढ़। धरमजयगढ़ के बोरे में पांच हाथियों ने जमकर उत्पात मचाया इससे करीबन आधा दर्जन ग्रामीणों के मकान को तो बूरी तरह से तहस नहस कर दिया है। वहीं इतने ही मकानों को आंशिक रूप से क्षति पहुंचाया है।

दरअसल वनों के आकार सिमटने से हाथियों के विचरण क्षेत्र के रकबे में कमी आई है जिससे वे खाने पीने की तलाश में भटकते हुए आबादी क्षेत्र में पहुंच जाते हैं जिसका खामियाजा वनांचल के ग्रामीणों को भुगतना पड़ता है। बीति रात जब बोरो रेंज के आबादी इलाले में हाथियों का दल पहुंचा और उनके चिंघाड़ से समूचा क्षेत्र गुंज उठा।

देखते ही देखते हाथियों के दल ने घरों को अपना निशाना शुरू और निशाना भी ऐसा कि ग्रामीणों की जान पर बन आई हाथियों के इस हमले से कोई भी ग्रामीण हताहत नहीं हुआ लेकिन उनके घरों को बुरी तरह से तबाह कर दिया।

दरअसल जब से जिले में औद्योगिक विकास तेजी से हुए इस तरह के वन्य जीव के विचरण क्षेत्र के रकबे में कमी आई है। वनों की कटाई की वजह से उनके खानपान मे उपयोग आने वाले वस्तुओं में भी कमी आई है।

बीति रात के हमले में मानों हाथियों ने ग्रामीणों के घरों को निशाना बनाते हुए मानो यह कह रहे हों कि औद्योगिक विकास के लिए उनके रहवास क्षेत्र को उजाडऩे का बदला ले लिया है और आगे भी यह सिलसिला जारी रहेगा।

फिलहाल इस मामले में डीएफओ प्रणय मिश्रा ने कहा कि हाथियों द्वारा घरों को बरबाद करने की रिपोर्ट देने के लिए अपने महकमे के साथ आरआई पटवारी को प्रतिवेदन देने का निर्देश दे दिया है रिपोर्ट आते ही 15 दिनों के अंदर प्रभावितों को मकान बनाने के लिए राशि का वितरण कर दिया जाएगा।

उन्होंने बताया कि कच्चे मकान के लिए अधिकतम 95 हजार व पक्के मकान के क्षति के लिए अधिकतम 1 लाख रूपये तक दिया जाएगा और जो भी छुटपुट नुकसानी हुई है रिपोर्ट के आधार पर मकान बनाने मुआवजा दिया जाएगा।

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