दिवाली तक सच हो सकता है घर का सपना
राष्टï्रीय राजधानी में अपना घर बनाने का सपना देख रहे लोगों को अब ज्यादा इंतजार नहीं करना पड़ेगा;
नई दिल्ली। राष्टï्रीय राजधानी में अपना घर बनाने का सपना देख रहे लोगों को अब ज्यादा इंतजार नहीं करना पड़ेगा। अगर सबकुछ तय कार्यक्रम के मुताबिक चला तो आवेदक मौजूदा साल की दिवाली नए घर में मना सकेंगे। दरअसल, दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) ने आवास आवंटन प्रक्रिया से संबंधित तमाम औपचारिकताएं पूरी कर ली हैं और इस योजना से संबंधित फाइल उपराज्यपाल कार्यालय को भेज दी है।
उपराज्यपाल से मंजूरी मिलने के बाद आवासीय योजना लागू कर दी जाएगी। डीडीए के वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक प्रत्येक माह के तीसरे या अंतिम सप्ताह में डीडीए के बोर्ड की बैठक का आयोजन किया जाता है। इस बैठक में डीडीए अध्यक्ष और उपराज्यपाल अनिल बैजल के समक्ष अन्य प्रस्तावों के साथ आवासीय योजना लांच करने का प्रस्ताव भी रखा जाएगा।
अगर इस बैठक में आवासीय योजना का प्रस्ताव मंजूर कर लिया जाता है तो इसे मई माह के अंत या जून माह में लांच कर दिया जाएगा। जुलाई-अगस्त माह तक फ्लैट आबंटन के लिए लकी ड्रा निकाला जाएगा और ड्रा में सफल आवेदकों को सितंबर माह के अंत तक फ्लैट आवंटित कर दिए जाएंगे। तबतक डीडीए की प्रस्तावित आवासीय कॉलोनियों में जलापूर्ति, सड़क, सीवरेज, प्रकाश व्यवस्था इत्यादि मूलभूत सुविधाएं भी सुचारु कर दी जाएंगी।
वहीं, दैनिक उपभोग की वस्तुओं के लिए सफल और मदर डेयरी जैसे आउटलेट्स भी खुल चुके होंगे। उधर, ड्रा के विजेता अक्टूबर माह में आने वाली दिवाली का त्यौहार नए घर में मना सकेंगे। अधिकारी ने बताया कि डीडीए की आवासीय योजना 2017 में राजधानी के सरिता विहार, जसौला, द्वारका, पीतमपुरा, सुखदेव विहार, नरेला, रोहिणी, जहांगीरपुरी, लोकनायकपुरम, दिलशाद गार्डन, पश्चिम विहार, बिन्दापुर, मुखर्जी नगर आदि को शामिल किया गया है।
इनमें साल 2014 में लाई गई आवासीय योजना के तहत वापिस लौटाए गए या रद्द किए गए 11544 फ्लैट भी शामिल हैं। इसके लिए आवेदन पत्र, बुकलेट, फ्लैट आवंटन के लिए कंप्यूटरीकृत ड्रा की नवीन व्यवस्था और पंजीकरण शुल्क भुगतान सुविधा के लिए सरकारी व निजी बैंको का चयन आदि कार्य संपन्न किए जा चुके हैं। जबकि
आवेदन पत्र ऑन लाइन और ऑफ लाइन दोनों ही विकल्पों से जमा कराए जा सकेंगे।
वहीं, ड्रॉ ऑफ लॉट्स से पहले अपना आवेदन वापिस लेने वालों की पंजीकरण राशि बिना ब्याज के लौटा दी जाएगी। लेकिन, आबंटित किया जा चुका फ्लैट वापिस लौटाने (सरेंडर करने) पर पंजीकरण शुल्क जब्त कर लिया जाएगा। गौरतलब है कि इस योजना में शामिल जनता व निम्न आय वर्ग (एल.आई.जी.) फ्लैट के लिए एक लाख रुपये, मध्यम आय वर्ग (एम.आई.जी.) और उच्च आय वर्ग (एच.आई.जी.) फ्लैट के लिए दो लाख रुपये पंजीकरण शुल्क तय किया गया है।