राज्य में आपदा से लगभग 300 करोड़ की क्षति : त्रिवेंद्र

त्रिवेन्द्र सिंह ने राज्य में घटित प्राकृतिक आपदाओं एवं दुर्घटनाओं से 300करोड़ रुपये की क्षति की आशंका व्यक्त करते हुए अधिकारियों को 30 सितंबर तक वास्तविक व्यय का विवरण सरकार को सौंपने का निर्देश दिया;

Update: 2019-09-14 23:52 GMT

देहरादून। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने राज्य में घटित प्राकृतिक आपदाओं एवं दुर्घटनाओं से 300 करोड़ रुपये की क्षति की आशंका व्यक्त करते हुए अधिकारियों को 30 सितंबर तक वास्तविक व्यय का विवरण सरकार को सौंपने का निर्देश दिया है।

श्री त्रिवेंद्र ने शनिवार को यहां सचिवालय में शासन के उच्चाधिकारियों एवं सभी जिलाधिकारियों के साथ आपदा से हुए नुकसान एवं राहत कार्यों की जिलावार समीक्षा करते हुए कहा कि आपदा राहत एवं इससे हुए नुकसान की भरपाई के लिये धन की कमी नहीं होने दी जायेगी। उन्होंने कहा कि सभी जिलाधिकारियों को आपदा मद में 71 करोड़ धनराशि पूर्व में उपलब्ध करायी जा चुकी है। इसके अतिरिक्त भी जिलाधिकारियों को 30 करोड़ और उपलब्ध कराये गए हैं।

मुख्यमंत्री ने आपदा के दौरान त्वरित कार्यवाही के लिये सभी सम्बन्धित आधिकारियों के प्रयासों की सराहना भी की। उन्होंने कहा कि जिलाधिकारियों से आपदा से हुए नुकसान का पूर्ण विवरण 30 सितम्बर तक प्राप्त होने के बाद इसकी सूचना तद्नुसार केन्द्र सरकार को उपलब्ध कराई जायेगी।

उन्होंने निर्देश दिये कि आपदा से क्षतिग्रस्त सडकों, पुलों, पेयजल, बिजली, विद्यालय भवनों की मरम्मत का कार्य त्वरित गति से पूर्ण किया जाए। उन्होंने आपदाग्रस्त योजनाओं की मरम्मत के मामलों की स्वीकृति में भी विलम्ब नहीं करने के निर्देश दिये।

श्री त्रिवेंद्र ने चार धाम यात्रा आरम्भ होने की स्थिति का भी जायजा लिया तथा इसके लिए भी सभी आवश्यक व्यवस्थाएं यथा समय पूर्ण करने को कहा। उन्होंने कहा कि जिन जिलों में अपेक्षा से कम वर्षा हुई है वहां उत्पन्न सूखे की स्थिति का भी आंकलन किया जाए।

मुख्यमंत्री ने सेब की फसल को हुए नुकसान का आंकलन तथा सेब को बाजार तक लाने की भी व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा, इसके लिये यदि अतिरिक्त धनराशि की जरूरत हो तो उसकी भी व्यवस्था की जायेगी। उन्होंने आपदा से बेहतर बचाव के लिये महिला और युवक मंगल दलों को प्रशिक्षित करने तथा गावों में आपदा मित्रों की व्यवस्था के साथ ही जिन गांवों में संचार सुविधा उपलब्ध नहीं है वहां पर डी.एस.टी.पी की सुविधा उपलब्ध कराये जाने के निर्देश भी दिए हैं।

उन्होंने थराली व घाट क्षेत्र में भी एस.डी.आर.एफ की नियमित उपलब्धता सुनिश्चित किये जाने के निर्देश दिए हैं। बैठक में आपदा प्रबन्धन विभाग के सचिव अमित नेगी ने बताया कि राज्य में इस वर्ष 15 जून से 14 सितम्बर तक आपदा से संबंधित 1124 घटनायें हुई हैं, जिसमें 70 लोगों की मौत हुई तथा 73 अन्य घायल हुए जबकि चार लोग लापता हैं। इस दाैरान 235 भवन पूर्ण क्षतिगस्त तथा इतने ही आंशिक क्षतिग्रस्त हुए हैं। 92 बड़े तथा 356 छोटे पशुओं की हानि तथा 21 गोशालाओं को नुकसान हुआ है, जबकि आपदा से 205 पेयजल योजनाओं तथा 29 विद्युत लाइनों को नुकसान पहुंचा है।

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