न्यायालय ने मछुआरों की नौका को टक्कर मारने वाले मालवाहक पोत कागजात जब्त करने के दिए निर्देश

केरल उच्च न्यायालय ने सोमवार को जहाजरानी महानिदेशालय के अधिकारियों को उस मालवाहक पोत के दस्तावेज जब्त करने का सोमवार को निर्देश दिया, जिसने रविवार को मछली पकड़ने वाली एक नौका को टक्कर मार दी थी;

Update: 2017-06-12 20:27 GMT

कोच्चि। केरल उच्च न्यायालय ने सोमवार को जहाजरानी महानिदेशालय के अधिकारियों को उस मालवाहक पोत के दस्तावेज जब्त करने का सोमवार को निर्देश दिया, जिसने रविवार को मछली पकड़ने वाली एक नौका को टक्कर मार दी थी।

टक्कर में दो मछुआरों की मौत हो गई और एक लापता हो गया है। पोत पर पनामा का ध्वज लगा हुआ है। दो मृत मछुआरों के संबंधियों के अदालत जाने के बाद सोमवार शाम अदालत ने यह दखल किया है।

अदालत ने जहाजरानी महानिदेशालय (डीजीएस) के अधिकारियों से वायस डाटा रिकार्डर और मूल लॉग बुक को जब्त करने को कहा है।

इससे पहले दिन में डीजीएस अधिकारियों के साथ तटरक्षक, तटीय पुलिस और केरल पुलिस के अधिकारियों ने जहाज का निरीक्षण शुरू किया था।

उर्वरक ले जा रहे मालवाहक पोत को समुद्र के बाहरी हिस्से में खड़ा किया गया है और निरीक्षण के बाद अगले कदम पर फैसला किया जाएगा। कोच्चि पुलिस आयुक्त एम.पी. दिनेश ने कहा, "इस मामले को आगे ले जाने के लिए कई प्रक्रियाएं पूरी करनी पड़ेंगी।"

दिनेश ने कहा, "आज की जांच से स्पष्ट होगा कि क्या हुआ था और उसके अनुसार ही कानूनी प्रक्रिया आगे बढ़ाई जाएगी।"

जहाज के कप्तान को हिरासत में लिए जाने के निर्णय के बारे में बाद में पता चलेगा। कप्तान ग्रीक नागरिक है। रविवार को तट पर दो मछुआरों का शव लाया गया था। लापता मछुआरे की तलाश जारी है।

मृतकों में से एक तमिलनाडु का, जबकि दूसरा असम का रहने वाला था। बताया जा रहा है कि लापता मछुआरा उत्तर प्रदेश का है। मछली पकड़ने वाली एक अन्य नौका ने 11 मछुआरों को बचा लिया था।

दुर्घटनाग्रस्त नौका में सवार मछुआरों के अनुसार, दुर्घटना रविवार तड़के लगभग दो बजे केरल तट से समुद्र में लगभग 16 मील की दूरी पर हुई। 

मछुआरों ने कहा, "मालवाहक पोत ने कोई चेतावनी नहीं दी और नौका को टक्कर मारने के बाद बिना रुके चला गया। समुद्री कानून के अनुसार यह गंभीर अपराध है।"

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