आलोचनाओं के बीच डोनाल्ड ट्रंप ने दी जेरूसलम को इजरायल की राजधानी के रूप में मान्यता
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चौतरफा आलोचनाओं के बीच औपचारिक रूप से जेरूसलम को इजराइल की राजधानी के रूप में मान्यता दे दी है

न्यूयार्क। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चौतरफा आलोचनाओं के बीच औपचारिक रूप से जेरूसलम को इजराइल की राजधानी के रूप में मान्यता दे दी है। डोनाल्ड ट्रंप ने इसे शांति के लिए उठाया गया कदम बताया, जो वर्षों से रुका हुआ था।
I have determined that it is time to officially recognize Jerusalem as the capital of Israel. I am also directing the State Department to begin preparation to move the American Embassy from Tel Aviv to Jerusalem... pic.twitter.com/YwgWmT0O8m
— Donald J. Trump (@realDonaldTrump) December 6, 2017
ट्रंप के दामाद जेयर्ड कुश्नर जहां इस विवादास्पद मुद्दे के समाधान के लिए नाकाम प्रयासों में लगे हुए हैं, वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति की इस घोषणा से पहले से ही संवेदनशील मध्य पूर्व में कूटनीतिक संकट और गहरा गया है।
संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरस ने ट्रंप की घोषणा के तुरंत बाद कूटनीतिक तौर पर इस फैसले की आलोचना की। उन्होंने कहा, "वे ऐसे किसी भी एकतरफा फैसले के खिलाफ हैं, जिससे इजरायल और फिलिस्तीन के बीच शांति की संभावना पर नकारात्मक असर पड़े।"
ट्रंप ने अमेरिकी कांग्रेस द्वारा पारित 1995 के कानून की मदद से अमेरिकी दूतावास को तेल अवीव से जेरूसलम में स्थानांतरित करने की घोषणा की।
चीन समेत कई देशों ने ट्रंप के फैसले की आलोचना की है।
ट्रंप ने कहा, "अमेरिका दोनों पक्षों में सहमति की स्थिति में ही द्वी-राष्ट्र के समाधान का समर्थन करेगा।"
ट्रंप ने अपने फैसले की घोषणा करते हुए कहा कि उनके इस कदम से किसी भी तरह से स्थायी शांति समझौते में मदद की उनकी प्रतिबद्धता कम नहीं होती। उन्होंने घोषणा के दौरान कहा कि वह विदेश विभाग से अमेरिकी दूतावास को जेरूसलम स्थानांतरित करने के लिए कहेंगे।


