शौचालय निर्माण में एक तिहाई राशि देने का आरोप
भारत सरकार के स्वच्छ भारत के अंतर्गत गांव तथा शहरी क्षेत्र में लगातार शौचालयों का निर्माण कराकर ओडीएफ बनाने का प्रयास निरंतर जारी है ...

रायगढ़। भारत सरकार के स्वच्छ भारत के अंतर्गत गांव तथा शहरी क्षेत्र में लगातार शौचालयों का निर्माण कराकर ओडीएफ बनाने का प्रयास निरंतर जारी है। शहरी क्षेत्र में तो लोग इसका बखूबी फायदा उठा रहें है मगर ग्रामीण क्षेत्रों में संबंधित विभाग के अधिकारी कर्मचारी पंचायत प्रतिनिधियों से मिलीभगत करके राशि की बंदरबांट कर इस अभियान को पलीता लगाने में जुटे हुए हैं।
ऐसा ही एक मामला बरमकेला विकासखण्ड अंतर्गत ग्राम पंचायत सराईपाली का सामने आया है जहां प्रत्येक हितग्राही को स्वीकृत 12 हजार रूपये की राशि में से मात्र 4 हजार 300 रूपये की सामग्री प्रदान कर शौचालय निर्माण के लिये दबाव बनाया जा रहा है। पीड़ित हितग्राहियों ने मामले की शिकायत कलेक्टर जनदर्शन में की है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार विकासखण्ड बरमकेला अंतर्गत ग्राम पंचायत सराईपाली में करीब दर्जन भर हितग्राहियों को स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत शौचालय निर्माण की स्वीकृति मिली थी इसमें से लहरी,जयराम, कृष्णलाल, रामदुलार, गर्जन, सुकालू, मोहन मस्त आदि को अभियान के अंतर्गत स्वीकृत राशि 12 हजार में से मात्र 4 हजार 300 रूपये का ईट, सीमेंट, बालू, गिट्टी, शीट, दरवाजा तथा 500 रूपये का लेबर चार्ज देकर शौचालय निर्माण करने की हिदायत दी जा रही है।
यह सीधे-सीधे इस राष्ट्रीय अभियान को पालीता लगाने से कम नही है। जिसमें स्वीकृत राशि का एक तिहाई भाग भी हितग्राही तक पहुंच पा रहा है और इतनी ही राशि से उसे शौचालय निर्माण करने के लिये दबाव बनाने की जानकारी मिली है।
शासन से स्वीकृत निर्धारित राशि से वंचित इन पीड़ित हितग्राहियों ने आज जिला मुख्यालय पहुंचकर कलेक्टर जनदर्शन में जिलाधीश को लिखित शिकायत देकर इस मामले की पूरी जांच कराने तथा शेष राशि का भुगतान दिलाने की मांग उठाई है।
गौरतलब है कि यह मामला जिले के एक मात्र ग्राम पंचायत का है जबकि जिले के अन्य ग्राम पंचायतों में भी अगर ओडीएफ के लिये की जा रही पहल की सूक्ष्म जांच कराई जाये तो लाखों रूपये का फर्जीवाडा सामने आ सकता है। जिला प्रशासन को इस मामले में संवेदनशीलता से पहल करने तथा राष्ट्रीय अभियान को पीछे धकेलने वाले लोगों पर नकेल कसने की जरूरत है।


