वार्डों में अवैध तरीके से बेची जा रही शराब
छत्तीसगढ सरकार ने शराब दुकानो की संख्या कम करके शराब बेचने का काम अपने हाथो मे ले लिया है

भाटापारा। छत्तीसगढ सरकार ने शराब दुकानो की संख्या कम करके शराब बेचने का काम अपने हाथो मे ले लिया है । शराब दुकानो को शहर से बाह करते हुये आउट साईड मे दुकाने खोलकर शराब बेचने का काम कर रहीं है। किन्तु इन सब के बावजूद आज भी ग्रामीण क्षेत्रो के गांव मे व शहर के अनेक वार्डो मे अवैध तरीके से शराब बेचने का काम चल रहा है।
यहां पर सवाल यह उठता है कि जब सरकार ही शराब बेच रहीं है तो ग्रामीण क्षेत्रो मे और शहर के विभिन्न वार्डो में शराब कौन उपलब्ध करा रहा है। शहर के 31 वार्डो मे आधे से अधिक वार्डो मे शराब बिक्री का काम जोरो से चल रहा है। वहीं ग्रामीण क्षेत्रो के गांव मे भी शराब बहुत आसानी से लोगों को उपलब्ध हो रहीं है। इससे सरकार की मंशा पर सवाल उठना लाजमी है।
भाटापारा विकासखंड मे कुल 2 शराब की दुकाने है। एक सुरखी रोड मे पावर स्टेशन के पास तो दूसरी दुकान सिद्धबाबा रेल्वे फाटक से ढाबाडीह की ओर जाने वाले मार्ग के किनारे स्थित है। भाटापारा ब्लाक मे 87 ग्राम पंचायते आती है और ज्यादातर ग्राम पंचायतों के गांव मे शराब आसानी से उपलब्ध हो रहीं है।
सरकार की यह मंशा थी कि दुकाने कम हो जाने से अवैध शराब का कारोबार बंद हो जायेगा परंतु धरातल पर ऐसा नहीं हुआ उल्टे पीने वालो को अधिक कीमत देकर लोगो से शराब खरीदनी पड रहीं है। अवैध शराब के कारोबार को कौन प्रश्रय दे रहा है इसकी जांच होनी चाहिए। ग्रामीण क्षेत्रो के हालात बिल्कुल नहीं सुधरे है। लोगो का कहना है कि पहली ठेकेदारी के दौरान ठेकेदार के गुर्गे गांव गांव शराब पहुचाकर अवैध शराब का व्यापार करते थे पंरतु अब तो सरकार स्वयं शराब बेच रहीं है तब गांव और शहर के वार्डो मे अवैध तरीके से शराब कैसे पहुच रहीं है। इससे सरकार की छवि भी और खराब हो रहीं है।


