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इंटरनेशनल ईयर ऑफ मिलेट्स को बढ़ावा देने के लिए साथ आए कृषि मंत्रालय व नेफेड

इंटरनेशनल ईयर ऑफ मिलेट्स (आईवाईओएम)-2023 को बढ़ावा देने के लिए केंद्रीय कृषि मंत्रालय एवं नेफेड के बीच समझौता किया गया है

इंटरनेशनल ईयर ऑफ मिलेट्स को बढ़ावा देने के लिए साथ आए कृषि मंत्रालय व नेफेड
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नई दिल्ली। इंटरनेशनल ईयर ऑफ मिलेट्स (आईवाईओएम)-2023 को बढ़ावा देने के लिए केंद्रीय कृषि मंत्रालय एवं नेफेड के बीच समझौता किया गया है। बाजरे के पारंपरिक व्यंजन देश के जाने-माने केंद्रीय विश्वविद्यालयों में भी पहुंच रहे हैं। केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा देशभर के विभिन्न राज्यों को सलाह दी गई है कि स्कूलों में बाजरा पर आधारित मेन्यू शुरू किया जाए। दरअसल बाजरा भारत ही नहीं बल्कि एशिया, अफ्रीका और अन्य देशों के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। गौरतलब है कि 2022-23 को 'अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष' घोषित किए जाने का संकल्प किया गया है। विशेषज्ञों के मुताबिक बाजरा अनाज की एक किस्म है जो लगभग हर आवश्यक पोषक तत्व से भरी हुई है और अक्सर इसे ग्लूटेन मुक्त के रूप में एक प्राचीन सुपरफूड माना जाता है जो कई अंतर्निहित बीमारियों का मूल कारण है। भारत में कई प्रकार के बाजरा उगाए जाते हैं और इनमें से प्रत्येक बाजरा सस्ती, आसानी से सुलभ है।

अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष का उद्देश्य एक शब्द-आंदोलन अर्थात 'जीवन' को बढ़ावा देना है, जो एक स्थायी और लचीली जीवन शैली की ²ष्टि से जलवायु संकट और भविष्य की अप्रत्याशित चुनौतियों से निपटने में उपयोगी है। इसे पर्यावरण के प्रति जागरूक जीवन शैली के एक जन आंदोलन के रूप में प्रस्तावित किया गया है जो बाजरे के टिकाऊ, विचारशील और अनिवार्य उपयोग को बढ़ावा देता है।

इंटरनेशनल ईयर ऑफ मिलेट्स (आईवाईओएम)-2023 के उत्सव के लिए मोटे अनाजों को प्रोत्साहन देने की प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की परिकल्पना वाली पहल को बढ़ावा देने के निमित्त नई दिल्ली में कृषि और किसान कल्याण विभाग तथा भारतीय राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन संघ लिमिटेड (नेफेड) के बीच एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए।

कृषि एवं किसान कल्यांण मंत्रालय के मुताबिक भारत सरकार द्वारा संयुक्त राष्ट्र को प्रस्तावित इस इंटरनेशनल ईयर ऑफ मिलेट्स (आईवाईओएम)-2023 की पहल को ध्यान में रखते हुए, दोनों संगठन मिलेट्स (मोटे अनाज) आधारित उत्पादों के प्रचार और विपणन के लिए मिलकर काम करेंगे। आईवाईओएम-2023 पूरे विश्व में मनाया जाएगा। भारत विश्व मानचित्र पर पोषक अनाजों को वापस लाने के लिए कमर कस रहा है। ये संगठन पूरे देश में अधिकतम मूल्य निर्माण और मोटे अनाज आधारित उत्पादों के लिए समर्थन, संगठित प्रचार, बाजार और प्रभावी बाजार संबंध स्थापित करेंगे।

कृषि और किसान कल्याण विभाग और नेफेड कुछ प्रमुख क्षेत्रों जैसे मूल्यसंवर्धित मोटे अनाज आधारित उत्पादों के निमार्ताओं, प्रोसेसरों को परामर्श सहायता उपलब्ध कराना, इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ मिलेट्स रिसर्च (आईआईएमआर) के पैनल में शामिल स्टार्ट-अप्स सहित अन्य स्टार्ट-अप्स की ऑन-बोडिर्ंग पर ध्यान केंद्रित करने में सहयोग और सहायता प्रदान करेंगे।


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