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केंद्र के बाद कई राज्यों ने घटाए पेट्रोल-डीजल पर टैक्स

केंद्र सरकार ने दिवाली से पहले उत्पाद शुल्क घटाकर पेट्रोल-डीजल के बढ़ती कीमतों से राहत दी है। केंद्र ने पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क में क्रमश: 5 रुपए और 10 रुपए की कटौती की

केंद्र के बाद कई राज्यों ने घटाए पेट्रोल-डीजल पर टैक्स
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नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने दिवाली से पहले उत्पाद शुल्क घटाकर पेट्रोल-डीजल के बढ़ती कीमतों से राहत दी है। केंद्र ने पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क में क्रमश: 5 रुपए और 10 रुपए की कटौती की। इस फैसले के बाद वित्त मंत्रालय ने राज्यों से पेट्रोल और डीजल पर वैट कम करने का भी आग्रह किया। इसका असर हुआ और कुछ राज्यों में वैट में कमी की घोषणा की है।

मुख्यमंत्री कार्यालय ने बताया है कि उत्तर प्रदेश में डीजल और पेट्रोल के दाम 12-12 रुपए प्रति लीटर कम होंगे। गौरतलब है कि यूपी में अगले साल चुनाव होने हैं। गुजरात में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में तत्काल प्रभाव से 7 रुपए प्रति लीटर की कमी की जाएगी।
हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि पेट्रोल और डीजल पर टैक्स कम करने को लेकर प्रदेश सरकार जल्द इसकी अधिसूचना जारी करेगी। वहीं असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने पेट्रोल और डीजल पर वैट में तत्काल प्रभाव से 7 रुपए की कमी की घोषणा की। त्रिपुरा के सीएम विप्लव कुमार देव ने भी पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 7 रुपए की कमी करने की घोषणा की।

कर्नाटक और गोवा सरकार ने भी अपने-अपने राज्य में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 7-7 रुपए प्रति लीटर की कमी करने की घोषणा की। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य में पेट्रोल पर वैट 2 रुपए प्रति लीटर कम करने की घोषणा की। मणिपुर के सीएम एन बीरेन सिंह ने कहा कि मणिपुर सरकार भी तत्काल प्रभाव से पेट्रोल और डीजल पर वैट 7 रुपए कम करेगी।
बिहार सरकार ने सबसे कम कटौती की है। बिहार सरकार ने पेट्रोल पर वैट में 1 रुपये 30 पैसे और डीजल की कीमत पर वैट में 1 रुपये 90 पैसे की कटौती की है।

उत्पाद शुल्क में कमी के बाद साथ पेट्रोल की कीमत दिल्ली में मौजूदा 110.04 रुपए प्रति लीटर से घटकर 105.04 रुपए प्रति लीटर जबकि डीजल की कीमत 98.42 रुपए प्रति लीटर से घटकर 88.42 रुपए प्रति लीटर हो जाएगी। यह उत्पाद शुल्क में की गयी अब तक की सबसे अधिक कमी है और इससे साथ मार्च 2020 से मई 2020 के बीच पेट्रोल एवं डीजल पर करों में 13 रुपए और 16 रुपए प्रति लीटर की वृद्धि का एक हिस्सा वापस ले लिया गया है। उत्पाद शुल्क में उस समय की वृद्धि से पेट्रोल पर केंद्रीय कर 32.9 रुपए प्रति लीटर और डीजल पर 31.8 रुपए प्रति लीटर के उच्चतम स्तर पर पहुंच गया था।

पेट्रोल और डीजल पर केंद्र सरकार उत्पाद शुल्क यानी एक्साइज ड्यूटी वसूलती है, जो कि पूरे भारत में एक समान है। वहीं इन पर लगाए जाने वाले वैट की दरें अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग होती हैं। देश में पेट्रोल और डीजल पर सबसे ज्यादा वैट राजस्थान में लगता है. राजस्थान के श्रीगंगानगर में पेट्रोल और डीजल सबसे ज्यादा महंगा बिकता है।

गौरतलब है कि केन्द्र सरकार ने महंगाई से परेशान उपभोक्ताओं को राहत पहुंचाने एवं किसानों को रबी सीजन में सस्ता ईंधन उपलब्ध कराने के उद्देश्य से दिवाली के तोहफे के तौर पर पेट्रोल और डीजल पर उत्पाद शुल्क में क्रमश: पांच रुपये और 10 रुपये की कटौती करने का निर्णय लिया है जिससे इन दोनाें की कीमतें कम होंगी। ये कटौती कल से प्रभावी हो जायेगी।


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