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डॉ. प्रणव रॉय के ख़िलाफ़ सीबीआई रेड की कार्रवाई तानाशाही का प्रतीक

एनडीटीवी के ख़िलाफ़ सीबीआई रेड की कार्रवाई को आम आदमी पार्टी ने देश की मीडिया और उसकी स्वतंत्रता पर हमला बताया है।

डॉ. प्रणव रॉय के ख़िलाफ़ सीबीआई रेड की कार्रवाई तानाशाही का प्रतीक
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नई दिल्ली, 05 जून। एनडीटीवी के ख़िलाफ़ सीबीआई रेड की कार्रवाई को आम आदमी पार्टी ने देश की मीडिया और उसकी स्वतंत्रता पर हमला बताया है।

आप ने कहा है कि मीडिया की आवाज़ दबाने की कोशिश की जा रही है। अपने पूरे जीवन में निष्पक्ष पत्रकारिता के ब्रांड एम्बेस्डर रहे डॉक्टर प्रणव रॉय के ख़िलाफ़ सीबीआई रेड की कार्रवाई देश की मीडिया को एक संदेश है कि अगर यहां सत्ता और सत्ता में बैठे लोगों की व्यक्ति पूजा नहीं की तो उसके पीछे जांच एजेंसियां छोड़ दी जाएंगी। आम आदमी पार्टी इस तरह की तानाशाहीपूर्ण कार्रवाई की कड़े शब्दों में निंदा करती है।

आम आदमी पार्टी के केंद्रीय कार्यालय में आयोजित प्रेस काँन्फ्रेंस में बोलते हुए पूर्व टीवी पत्रकार, पार्टी के वरिष्ठ नेता और राष्ट्रीय प्रवक्ता आशुतोष ने कहा कि

‘जिस तरह से एनडीटीवी के संस्थापक और इस देश में टीवी पत्रकारिता के जनक डॉक्टर प्रणव रॉय के ख़िलाफ़ सीबीआई की कार्रवाई की गई है वो इस देश में मीडिया की स्वतंत्रता पर हमले की तरह है। इस देश में निष्पक्ष पत्रकारिता के एम्बेस्डर रहे डॉक्टर प्रणव रॉय वैश्विक स्तर पर भी अपनी निर्भीक और निष्पक्ष पत्रकारिता के लिए जाने जाते हैं लेकिन उनके ख़िलाफ़ एक बैंक लोन को लेकर की गई सीबीआई रेड की कार्रवाई से इस देश की पूरी मीडिया को संदेश देने की कोशिश की गई है कि यहां अगर सरकार और व्यक्ति विशेष की पूजा नहीं की तो अंजाम भुगतने के लिए तैयार रहना होगा।

उन्होंने कहा कि

‘लेकिन बड़ी खुशी की बात है कि एनडीटीवी आज भी निष्पक्ष पत्रकारिता की नींव पर मजबूती के साथ खड़ा है, तो वहीं दूसरी तरफ़ कुछ ऐसे पत्रकार भी हैं जो लगातार सरकार और व्यक्ति-पूजा में लीन हैं और उन्हें उनके ईनाम के तौर पर राज्यसभा की सीट और दूसरे पदों और पुरस्कारों से नवाज़ा जा रहा है। जो पत्रकार निष्पक्ष तरीके से पत्रकारिता करता है उसके पीछे सीबीआई छोड़ दी जाती है।‘

पत्रकारों से बात करते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेता और राष्ट्रीय प्रवक्ता आशीष खेतान ने कहा कि ‘देश की सरकार इस वक्त हर उस आवाज़ को कुचलने का प्रयास कर रही है जो आवाज़ व्यक्ति पूजा या फिर उनके एजेंडे के मुताबिक ख़बर नहीं दिखा रहे हैं। देश में 30 हज़ार से ज्यादा एनजीओ और सामाजिक कार्यकर्ताओं पर तो कार्रवाई हो रही है, अब तो मीडिया को भी निशाने पर ले लिया गया है। संदेश सीधा-सा है कि जो भी संस्थान सरकार और व्यक्ति विशेष की वंदना नहीं करेगा उसके पीछे सरकारी एजेंसियां छोड़ दी जाएंगी। और यह कोशिश पिछले तीन साल से लगातार की जा रही है जिसमें कानून और सरकारी एजेंसियों का इस्तेमाल किया जा रहा है जो बेहद निंदनीय है। एनडीटीवी पर सीबीआई रेड एक तानाशाहीपूर्ण कार्रवाई है।

प्रेस काँन्फ्रेंस में बोलते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेता और राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष दीपक बाजपेई ने कहा कि ‘मैंने खुद एक पत्रकार के तौर पर एनडीटीवी में काम किया है और जिसके दौरान मैंने खुद पाया है कि डॉक्टर प्रणव रॉय और उनके संस्थान की निष्पक्ष पत्रकारिता पर उंगली नहीं उठाई जा सकती, और यही कारण है कि वो किसी व्यक्ति विशेष या सरकार विशेष की चरण-वंदना नहीं करते हैं तो उनके ख़िलाफ़ सीबीआई का इस्तेमाल करके दमनपूर्ण कार्रवाई की जाती है। यह मीडिया की स्वतंत्रता और लोकतंत्र के चौथे स्तंभ की आवाज़ को दबाने की एक हिटलरवादी नीति है जिसकी आम आदमी पार्टी कड़े शब्दों में निंदा करती है। हम उम्मीद करते हैं कि एडिटर्स गिल्ड और नेशनल ब्रॉडकास्ट एसोसिएशन इस कार्रवाई का संज्ञान लेंगे और मीडिया की स्वतंत्रता को बचाने के लिए एकजुट होकर खड़े होंगे।





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