Top
Begin typing your search above and press return to search.

देश में 57 प्रतिशत महिलाएं एनीमिक- महिला एवं बाल विकास मंत्रालय

महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के अनुसार देश में 57 प्रतिशत महिलाएं, 15 से 49 वर्ष के बीच एनीमिक (रक्त हीनता से पीड़ित) होने का अनुमान है

देश में 57 प्रतिशत महिलाएं एनीमिक- महिला एवं बाल विकास मंत्रालय
X

नई दिल्ली। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के अनुसार देश में 57 प्रतिशत महिलाएं, 15 से 49 वर्ष के बीच एनीमिक (रक्त हीनता से पीड़ित) होने का अनुमान है। हाल ही में किया गया राष्ट्रीय परिवार स्वास्थ्य सर्वेक्षण इसकी पुष्टि करता है।

महिला एवं बाल विकास मंत्रालय केंद्र प्रायोजित प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (पीएमएमवीवाई) योजना के तहत 2.17 करोड़ से अधिक पात्र लाभार्थियों के बीच 9420.58 करोड़ रुपये (केंद्र और राज्य के हिस्से सहित) के मातृत्व लाभ का वितरण किया गया है। नामांकित लाभार्थियों की संख्या का राज्य व संघ राज्य क्षेत्र-वार विवरण, भुगतान किए गए मातृत्व लाभ के लाभार्थियों की संख्या और पीएमएमवीवाई के तहत वितरित की गई है।

पीएमएमवीवाई के तहत पात्र लाभार्थियों को 5 हजार के मातृत्व लाभ का वितरण योजना की शुरूआत से ही जारी है, जिसमें कोविड-19 महामारी की अवधि भी शामिल है। पात्र लाभार्थियों को तीन किस्तों में प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (डीबीटी) मोड में उनके आधार संख्या से जुड़े बैंक व डाकघर खातों में सीधे नकद प्रोत्साहन मिलता है।

राज्यों व संघ राज्य क्षेत्रों को निधियां सांकेतिक लक्ष्यों और निधियों के उपयोग के आधार पर जारी की जाती हैं। पीएमएमवीवाई के तहत स्वीकृत की गई निधियों का वर्ष-वार और राज्य व संघ राज्य क्षेत्र-वार विवरण और पूर्वोत्तर क्षेत्र सहित रिपोर्ट किए गए उपयोग का विवरण तैयार किया गया है।

पीएमएमवीवाई के सफल कार्यान्वयन के लिए राज्यों व संघ राज्य क्षेत्रों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस, बैठकों और कार्यशालाओं के माध्यम से समय-समय पर समीक्षा की जाती है। योजना के कार्यान्वयन में राज्यों द्वारा सामना की जाने वाली परिचालन कठिनाइयों की रिपोर्ट की जाती है जिसको तकनीकी चर्चा और हैंडहोल्डिंग के माध्यम से संबोधित किया जाता है। योजना के कार्यान्वयन को तेज करने और राज्यों व संघ राज्य क्षेत्रों के बीच एक स्वस्थ प्रतिस्पर्धा पैदा करने के लिए मंत्रालय हर साल 'मातृ वंदना सप्ताह' भी मनाता है।

मंत्रालय ने इसकी जानकारी देते हुए कहा कि राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों ने पीएमएमवीवाई के कार्यान्वयन में तेजी लाने के लिए विभिन्न आईईसी और व्यवहार परिवर्तन संचार (बीसीसी) गतिविधियों जैसे प्रभात फेरी, नुक्कड़ नाटक, समाचार पत्र विज्ञापन, रेडियो जिंगल्स, सेल्फी अभियान, घर-घर अभियान, क्षेत्रीय स्तर पर सामुदायिक कार्यक्रम आदि का संचालन किया गया।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it