Top
Begin typing your search above and press return to search.

एनआरआई के खाते से 1.35 करोड़ रुपये निकालने के आरोप में 5 गिरफ्तार

दिल्ली पुलिस ने एक ऐसे गिरोह का भंडाफोड़ किया है, जो अवैध रूप से बैंक खातों से बड़ी मात्रा में रुपये निकाल रहा था। एक अधिकारी ने यहां मंगलवार को यह जानकारी दी

एनआरआई के खाते से 1.35 करोड़ रुपये निकालने के आरोप में 5 गिरफ्तार
X

नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने एक ऐसे गिरोह का भंडाफोड़ किया है, जो अवैध रूप से बैंक खातों से बड़ी मात्रा में रुपये निकाल रहा था। एक अधिकारी ने यहां मंगलवार को यह जानकारी दी।

पुलिस के मुताबिक, जर्मनी में रहने वाली एक एनआरआई महिला की शिकायत पर पिछले साल राजिंदर नगर थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 420 के तहत मामला दर्ज किया गया था।

शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया था कि नवंबर, 2020 में उसने अपने बैंक खाते में लॉग इन करने की कोशिश की, लेकिन सही पासवर्ड के अभाव में उसे एक्सेस करने से मना कर दिया गया। जब उसने बैंक अधिकारियों से संपर्क किया, तो उसे पता चला कि उसकी सावधि जमा (फिक्सड डिपॉजिट) राशि को समाप्त कर दिया गया है और ऑनलाइन हस्तांतरण, चेक और एटीएम निकासी के माध्यम से धोखाधड़ी से 1.35 करोड़ रुपये निकाले गए हैं।

बैंक अधिकारियों ने बताया कि हाल ही में उनके खाते के संबंध में एक नई चेक बुक और नया एटीएम कार्ड जारी किया गया था। अधिकारियों ने शिकायतकर्ता को सूचित किया कि नई चेक बुक और एटीएम कार्ड एक व्यक्ति को मिला है, जिसने अपना परिचय शिकायतकर्ता के भाई विशाल के रूप में दिया है।

शिकायतकर्ता ने कहा कि उसने बैंक को चेक बुक या एटीएम कार्ड जारी करने का कोई अनुरोध नहीं किया था। इसके अलावा, उसके कोई भाई-बहन नहीं हैं।

उनकी शिकायत के आधार पर, पुलिस ने जांच शुरू की और अपराधी की पहचान बैंक के एक कर्मचारी सुमित पांडे के रूप में हुई। बाद में उसे पकड़ लिया गया और पूछताछ के दौरान उसने खुलासा किया कि उसने आईसीआईसीआई बैंक में अपनी आधिकारिक स्थिति का लाभ उठाकर शिकायतकर्ता के खाते के विवरण तक पहुंच प्राप्त की और उसे पता चला कि खाते में 1.35 करोड़ रुपये की राशि पड़ी है।

पुलिस ने कहा कि पांडे ने फिर शिकायतकर्ता के बैंक खाते की जानकारी गिरोह के सरगना शैलेंद्र प्रताप सिंह को दी, जिसने शिकायतकर्ता के खाते से पैसे निकालने की साजिश रची।

पुलिस ने बताया कि इस काम को अंजाम देने के लिए किराए के एक कार्यालय का भी इंतजाम किया गया था, जिस पर काम खत्म होने के बाद वह ताला लगाकर गायब हो गए थे। पुलिस के अनुसार, धोखाधड़ी से मोटी रकम निकालने के बाद खाते में सिर्फ 63 रुपये बचे थे, मगर अपराधी इस छोटी सी रकम को भी निकालने को बेताब थे, इसलिए उन्होंने शेष राशि को 100 रुपये तक ले जाने के लिए पहले खुद 37 रुपये जमा किए और इसके बाद 100 रुपये भी निकाल लिए।

आरोपियों की पहचान यूपी के गाजियाबाद के लाल कुआं निवासी सुमित पांडेय, शास्त्री नगर निवासी शैलेंद्र प्रताप सिंह, गुरुग्राम की नीलम, यूपी के मऊ जिले के जगदंबा प्रसाद पांडे और यूपी के आजमगढ़ निवासी आदर्श जायसवाल के रूप में हुई है।

इस धोखाधड़ी के बाद आरोपियों ने काफी पैसा खर्च कर दिया था। पुलिस ने 41 लाख रुपये की बेनामी संपत्ति, एक टाटा नेक्सॉन कार, एक रॉयल एनफील्ड मोटरसाइकिल, दो एप्पल आई फोन और 27 लाख रुपये नकद बरामद किए हैं।


Next Story

Related Stories

All Rights Reserved. Copyright @2019
Share it