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प्राधिकरण की 21 हजार आबंटियों को राहत

जेवर में प्रस्तावित अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा तक बेहतर कनेक्टिविटी के लिए यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण ने जेवर एयरपोर्ट तक मेट्रो ले जाने का फैसला लिया है

प्राधिकरण की 21 हजार आबंटियों को राहत
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ग्रेटर नोएडा। जेवर में प्रस्तावित अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा तक बेहतर कनेक्टिविटी के लिए यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण ने जेवर एयरपोर्ट तक मेट्रो ले जाने का फैसला लिया है। साथ ही जेवर से दिल्ली इंदिरा गांधी एयरपोर्ट को जोड़ने के लिए प्राधिकरण मल्टी मॉडल ट्रांसपोर्ट का प्रस्ताव तैयार करेगा।

इससे पहले एनसीआरटी से इसका अध्ययन कराएगा। यमुना एक्सप्रेस-वे को ईस्टर्न पेरीफैरल एक्सप्रेस-वे से जोड़ने के लिए प्राधिकरण एनएचआई को जगनपुर अफजलपुर के पास 57 हेक्टेयर निशुल्क जमीन देगा। सेक्टर-18 व 20 के 21 हजार आबंटियों को राहत देते हुए प्राधिकरण ने उन्हें जीएसटी से बाहर कर दिया है।

यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण की शुक्रवार हुई 62 वें बोर्ड बैठक में यह फैसला लिया है। प्राधिकरण के अध्यक्ष डा. प्रभात कुमार व सीईओ डा. अरूणवीर सिंह ने बताया कि पहले ग्रेटर नोएडा वे सेक्टर-20 तक मेट्रो डीपीआर डीएमआरसी ने तैयार किया था। बोर्ड ने अब जेवर एयरपोर्ट से ग्रेटर नोएडा तक 38 किलोमीटर लंबा ट्रैक निर्माण करने का फैसला लिया है मेट्रो का टेक्निकल फिजिबिलिटी रिपोर्ट तैयार करने का जिम्मा दिल्ली मेट्रो रेल कारपोरेशन को सौंप गया है। जेवर एयरपोर्ट को दिल्ली इंटर गांधी हवाई अड्डा से जोड़ने के लिए मल्टी मॉडल ट्रांसपोर्ट के तहत अध्ययन कराया जाएगा।

उन्होंने बताया कि ईस्टर्न परीफेरल एक्सप्रेस-वे को यमुना एक्सप्रेस-वे से जोड़ने को लेकर जमीन का मसला सुलझ गया है। प्राधिकरण ने एनएचआई को 57 हेक्टेयर निशुल्क जमीन देने का फैसला लिया है। साथ ही जमीन की आगे हो भी देनदारी होगी उसे एनएचआई व जेपी इंफ्राटेक वहन करेगा। इससे अब यमुना एक्सप्रेस-वे ष्षहर दो एक्सप्रेस-वे से जुड़ जाएगा।

प्राधिकरण ने आबंटियों को दी बड़ी राहत

यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने अपने सभी आबंटियों को बड़ी राहत दी है। प्राधिकरण ने ब्याज दरो में कटौती की है। पहले सभी आबंटियों से 12 फीसदी ब्याज लिया जाता है जिसे प्राधिकरण ने घटा कर साढ़े दस फीसदी कर दिया है। प्राधिकरण ने आवासीय सेक्टर-18 व 20 के 21 हजार आबंटियों को जीएसटी से राहत दी है। आबंटियों से अब जीएसटी नहीं वसूला जाएगा। साथ ही भूखंड सरेंडर करने वाले आबंटियों को चेक देते समय एक माह पूर्व तक का ब्याज दिया जाएगा। पहले सरेंडर का आवेदन करने पर उस समय तक ब्याज दिया जाता था। आवेदन करने पर आबंटियों को चेक मिलने में कई माह लग जाता था।

किसानों को भी प्राधिकरण ने दी राहत

यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण ने बोर्ड बैठक में किसानों को दी राहत दी है। जमीन अधिग्रहण के बदले किसानों ने सात फीसदी भूखंड अभी तक एक परिवार के अलग-अलग सदस्यों को अलग-अलग भूखंड दिया जाता है।

किसान लगातार मांग कर रहे थे कि एक ही परिवार के लोगों को एक ही साथ भूखंड दिया जाए। जिस बोर्ड ने मोहर लगा दी है। अगर एक परिवार के लोग एक साथ ही भूखंड चाहते है तो उन्हें आबंटित किया जाएगा।



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