आई एस आई के 11 जासूस पकड़ाए
भोपाल ! मध्यप्रदेश एटीएस ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई को भारतीय सेना की खुफिया जानकारी भेजने के मामले में 11 लोगों को जासूस को गिरफ्तार किया है।

भोपाल ! मध्यप्रदेश एटीएस ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई को भारतीय सेना की खुफिया जानकारी भेजने के मामले में 11 लोगों को जासूस को गिरफ्तार किया है।इनकी गिरफ्तारी प्रदेश के अलग-अलग शहरों से की गई है। पुलिस के अनुसार ये फोन करके सूचनाएं पाकिस्तान भेजते थे। मामले में कई अन्य लोगों की गिरफ्तारी भी हो सकती है।
एटीएस चीफ संजीव शमी ने आज यहां पत्रकारों को बताया कि ग्वालियर से पांच, भोपाल से तीन, जबलपुर से दो और सतना से एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया है। सतना के कोलगवां थाना इलाके से पकड़ा गया बलराम पाकिस्तान से मिले पैसे कश्मीर में आतंकियों को पहुंचता था और वहीं इन सभी की आर्थिक मदद करता था। ये लोग इंटरनेट कॉल को सेल्यूलर नेटवर्क में बदलकर दूसरे देशों में बैठे अपने आकाओं तक जानकारियां पहुंचाते थे। इस मामले में टेलिकॉम कंपनियों में काम करने वाले कुछ कर्मचारी भी जांच के घेरे में हैं।
शमी के अनुसार जितेंद्र ठाकुर और कुश पंडित नाम के दो अवैध कॉल सेंटर को ऑपरेट करते थे। इसमें जितेंद्र ठाकुर ग्वालियर में भाजपा पार्षद वंदना सतीश यादव का रिश्तेदार बताया गया है। इस मामले में एटीएस सभी से पूछताछ कर रही है। सभी आरोपियों के खिलाफ इंडियन टेलीग्राफ एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत देश के खिलाफ युद्ध की साजिश रचने का केस दर्ज किया गया है।
लॉटरी के नाम पर आते थे पैसे : सतना के बलराम के खाते में बाहर से पैसा आता था। हवाला और लॉटरी के नाम पर ठगी कर बलराम के अलग-अलग बैंक खातों में रुपए आते थे। इन पैसों को वह जम्मू भेजता था। जहां सतविंदर जासूसी में रुपए खर्च कर सेना की जानकारी पाकिस्तान भेज रहा था। नवंबर 2016 में सतविंदर के पकड़े जाने के बाद बलराम का नाम सामने आया था।
कई चीजें बरामद: जानकारी के मुताबिक सभी एक समानांतर टेलिकॉम एक्सचेंज चला रहे थे, जो आईएसआई की मदद से उन्होंने तैयार किया था। इसमें वह जम्मू-कश्मीर में पदस्थ सेना के कर्मचारियों को वरिष्ठ अधिकारी बनकर फोन करते थे और उनसे ऑपरेशन, तैनाती और अन्य जानकारियां हासिल करते थे। एटीएस के अधिकारियों ने इनसे कई चाइनीज उपकरण और मोबाइल फोन, सिम बॉक्स, विभिन्न टेलिकॉम कंपनियों के प्री पेड सिम कार्ड, लैपटॉप और डाटा कार्ड बरामद किए हैं।


