नगर परिषद व लोनिवि ने चलाया अतिक्रमण हटाओ अभियान
एसडीएम के आदेश पर नगर परिषद और लोक निर्माण विभाग द्वारा शुक्रवार को चलाए गए अतिक्रमण हटाओ अभियान के तहत दुकानों के सामने किए गए अतिक्रमण को हटाया गया

होडल। एसडीएम के आदेश पर नगर परिषद और लोक निर्माण विभाग द्वारा शुक्रवार को चलाए गए अतिक्रमण हटाओ अभियान के तहत दुकानों के सामने किए गए अतिक्रमण को हटाया गया और दोबारा अतिक्रमण की शिकायत मिलने पर कानूनी कार्रवाई किए जाने की चेतावनी जारी की लेकिन विभागों द्वारा दिए गए चालन नोटिसों को भुगतने के लिए कार्यालयों में कोई अधिकार तैनात नहीं है जिसके कारण दुकानदार यही कहते फिर रहे हैं कि सरकार अब इन चालानों को कहां भुगतें।
विभागीय अधिकारियों ने बाजार में अतिक्रमण करने वालों की वीडियोग्राफी और फोटोग्राफी करनी शुरू कर दी है।
बाजार में अतिक्रमण और भारी वाहनों के प्रवेश के कारण आए दिन लगने वाले जाम को लेकर एसडीएम प्रीति ने विभागीय अधिकारियों की मीटिंग ली थी और बाजार को अतिक्रमण मुक्त करने के निर्देश दिए। जिस पर लोक निर्माण विभाग और नगर परिषद ने मिलकर पुरानी जी टी रोड और शहर में अतिक्रमण हटाओं अभियान की मुहिम चलाई थी। इस मुहिम के तहत अतिक्रमण करने वालों को नोटिस चालान भी थमाए थे। जिनमें दो दिन कार्यालय पहुंचने को कहा गया है।
विभागों ने थमाए दो दिन में नोटिस चालान भुगतने के आदेश
नगर परिषद और लोक निर्माण विभाग द्वारा अतिक्रमण करने वाले सैंकड़ों से अधिक दुकानदारों को नोटिस चालान जारी किए जा चुके हैं जिसमें दो दिन के अन्दर कार्यालय में पेश होने को कहा गया है। अब दुकानदार उक्त चालान नोटिसों को लेकर विभागीय कार्यालयों में चक्कर काट रहे हैं लेकिन कोई भी अधिकारी इस बारे में बात करने को तैयार नहीं है। दोनों ही विभागों के अधिकारी एक दूसरे विभाग की जिम्मेदारी बताकर टाल मटोल कर रहे हैं और दुकानदार इन नोटिस चालान को हाथ में लेकर कार्यालयों के चक्कर काट रहे हैं। दुकानदारों का कहना है कि जब प्रशासन द्वारा अतिक्रमण करने वालों को नोटिस चालान जारी किए गए हैं तो उन्हें भगतने के लिए भी स्थान निश्चत करना चाहिए था और जिम्मेदार अधिकारी की डयूटी लगानी चाहिए थी।
एक ओर दोनों विभागों द्वारा शुरू किए गए इस अतिक्रमण हटाओ अभियान को लगभग एक महीना होने जा रहा है लेकिन अतिक्रमण के कारण लगने वाले जाम की समस्या से लोगों को अभी तक मुक्ति नहीं मिल पा रही है और दूसरी ओर विभागों द्वारा दुकानदारों को दिए गए नोटिस चालान को भुगतने के लिए कार्यालय तक निश्चित नहीं किया गया है।
जिसके कारण परेशान दुकानदार अब यही कहते सुने जा रहे हैं कि सरकार अब इन्हें कहां भुगतें। प्रशासन की अतिक्रमण हटाओ अभियान अच्छी पहल है और इस प्रकार के दुकानदारों को नोटिस जारी करना भी कानूनी कार्रवाई है लेकिन इन नोटिसों को भुगतने के लिए भी किसी अधिकारी को जिम्मेदारी सौंपनी चाहिए ताकि दुकानदारों को परेशानी ना उठानी पडे।
प्रशासन द्वारा अतिक्रमण हटाओ अभियान के तहत दो सप्ताह पहले नोटिस चालान जारी किए गए जिन्हें लेकर दुकानदार विभागीय कार्यालयों में चक्कर काट रहे हैं। नोटिसों में दो दिन के अन्दर भुगतने का समय निश्चत किया गया है लेकिन कोई भी अधिकारी इस बारे में बोलने को तैयार नहीं है।


