• ‘नो डिटेंशन पॉलिसी’ पर राज्य करेंगे फैसला

    नयी दिल्ली. ! आठवीं कक्षा तक छात्रों को फेल न करने की नीति को समाप्त करने का फैसला अब राज्य सरकारों पर छोड़ दिया गया है लेकिन केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) के स्कूलों में दसवीं बोर्ड को फिर से बहाल करने का फैसला बाद में केंद्र सरकार करेगी।...

    ‘नो डिटेंशन पॉलिसी’ पर राज्य करेंगे फैसला

    नयी दिल्ली. ! आठवीं कक्षा तक छात्रों को फेल न करने की नीति को समाप्त करने का फैसला अब राज्य सरकारों पर छोड़ दिया गया है लेकिन केन्द्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) के स्कूलों में दसवीं बोर्ड को फिर से बहाल करने का फैसला बाद में केंद्र सरकार करेगी। मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावडेकर ने केन्द्रीय शिक्षा सलाहकार बोर्ड (केब) की दिनभर चली बैठक के बाद आज शाम पत्रकारों को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि बैठक में ‘नो डिटेंशन पाॅलिसी’ को समाप्त करने के बारे में चर्चा हुई और बोर्ड ने इस सम्बन्ध में अंतिम फैसला राज्य सरकारों पर छोड़ दिया क्योंकि कुछेक राज्य इसे जारी भी रखना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि पांचवीं कक्षा और आठवीं में परीक्षा तो होनी चाहिए लेकिन लर्निंग आउटकम यानी पढ़ाई के स्तर पर बैठक में गहरी चिंता व्यक्त की गयी और लर्निंग आउटकम को शिक्षा के अधिकार के नियमों में शामिल करने का फैसला हुआ । इसके लिए शिक्षा के अधिकार कानून में नियम बनेंगे । उन्होंने कहा कि बैठक में यह भी राय बनी कि अगर कोई छात्र छठी या सातवीं में फेल होता है तो उसे परीक्षा देने का एक और मौका दिया जायेगा। उन्होंने बताया कि राज्यों के फैसले के बाद केंद्र अंतिम निर्णय लेगी और इसके लिए शिक्षा अधिकार कानून में आवश्यक संशोधन किया जायेगा । इसके अलावा शिक्षकों को प्रशिक्षित करने के लिए पांच साल का और समय दिया जायेगा और इसके लिए भी शिक्षा के कानून में संशोधन लाया जायेगा क्योंकि 2015 तक पांच लाख शिक्षक अभी भी प्रशिक्षित नहीं हो पाए। श्री जावडेकर ने यह भी कहा,“हमने वैसे यह भी तय किया है कि तीन साल के भीतर ही शिक्षकों को प्रशिक्षित कर दिया जाये । यह पूछे जाने पर कि दसवीं के बोर्ड को फिर बहाल करने के बारे में क्या निर्णय हुआ इस पर उन्होंने बताया कि राज्यों के अपने बोर्ड हैं और इस बारे में वे निर्णय लेते हैं। दसवीं के बोर्ड का मामला केवल सीबीएसई से जुडा है इस बारे में हम बाद में निर्णय लेंगे।यह फैसला मानव संसाधन विकास मंत्रालय को लेना है।” उन्होंने कहा कि केब की बैठक में नयी शिक्षा नीति पर भी चर्चा हुई लेकिन अभी नयी शिक्षा नीति के प्रारूप की जाँच होगी और एक समिति इसके लिए गठित की जायेगी । उसके बाद उसे अंतिम रूप दिया जायेगा और तब मंत्रिमंडल उसकी मंजूरी देगा । मानव संसाधन विकास मंत्री ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के ‘बेटी बचाओ बेटी पढाआे’ योजना को लागू करने के लिए तेलंगाना के उपमुख्यमंत्री कडियम श्री हरि की अध्यक्षता में एक समिति गठित की गयी है । उन्होंने बताया कि शिक्षा की गुणवत्ता की जिम्मेदारी सभी पक्षों की होगी चाहे वे शिक्षक हो या संस्थान या सरकार।


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