• महिला कबड्डी चैलेंज एक नए युग की शुरुआत : ममता पुजारी

    मुम्बई | दो साल पहले राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के हाथों अर्जुन पुरस्कार हासिल करने वाली देश की अग्रणी महिला कबड्डी खिलाड़ी ममता पुजारी मंगलवार से शुरू हो रही महिला कबड्डी चैलेंज प्रतियोगिता को एक नए युग की शुरुआत मानती हैं।...

     

    महिला कबड्डी चैलेंज एक नए युग की शुरुआत : ममता पुजारी

    मुम्बई | दो साल पहले राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के हाथों अर्जुन पुरस्कार हासिल करने वाली देश की अग्रणी महिला कबड्डी खिलाड़ी ममता पुजारी मंगलवार से शुरू हो रही महिला कबड्डी चैलेंज प्रतियोगिता को एक नए युग की शुरुआत मानती हैं। कर्नाटक सरकार द्वारा राज्य के दूसरे सबसे बड़े नागरिक सम्मान-राज्योत्सव प्रशस्ति से नवाजी जा चुकीं ममता महिला कबड्डी चैलेंज में हिस्सा ले रही फायर बर्ड टीम की कप्तान हैं और वह मानती हैं कि मिनी लीग महिला कबड्डी को एक ऐसा प्लेटफार्म उपलब्ध करा रहा है जो देश को यह दिखाएगा कि महिला कबड्डी खिलाड़ियों का स्तर कैसा है।

    साल 2010 और 2014 एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीतने वाली भारतीय टीम की सदस्य ममता ने  कहा, "यह मिनी लीग हमें एक बेहतरीन प्लेटफार्म उपलब्ध करा रहा है। हमारे लिए पुरुषों के लिए निर्मित कोर्ट पर खेलना एक चुनौती होगी और हमने खुद को इस चुनौती के लिए भली-भांति तैयार किया है। इस मिनी लीग में देश की चुनिंदा 42 श्रेष्ठ खिलाड़ी हिस्सा ले रही हैं। अब लोगों को पता लग सकेगा कि देश में महिला कबड्डी का क्या स्तर है।"

    स्टार स्पोर्ट्स प्रो कबड्डी लीग के तीसरे संस्करण के लिए ममता को सेमीफाइनल और फाइनल में कमेंट्री टीम में शामिल किया गया था। ममता मानती हैं कि कोच पद्मजा बाला और सहायक कोच नरेंदर कुमार की देखरेख में उनकी टीम ने खुद को आने वाली चुनौतियों के लिए तैयार किया है क्योंकि मिनी चैलेंज में शामिल सभी खिलाड़ी एक दूसरे के खेल को जानती हैं और इसीलिए उनसे भिड़ने के लिए विशेष तैयारी की जरूरत आ पड़ी।


    बकौल ममता, "तीनों टीमों की कप्तान अर्जुर पुरस्कार विजेता हैं। सभी खिलाड़ी एक दूसरे के खेल को जानती हैं। हमें नए तरह के कोर्ट पर खेलना है। साथ ही रोशनी की चकाचौंध भी हमारे लिए एक तरह की चुनौती होगी क्योंकि हम ऐसे माहौल में पहले कभी नहीं खेली हैं। हमने खुद को इस भी चुनौतियों के लिए तैयार किया है। हमारे कोचों ने भी कहा कि पुरुषों के लिए बने कोर्ट पर खेलना एक चुनौती होगा लेकिन हमने काफी मेहनत के बाद खुद को इसके लिए तैयार किया।"

    महिला कबड्डी चैलेंज में हिस्सा ले रहीं सभी तीन टीमें-इन हाउस टीमें हैं। अभी इस लीग में कोई फ्रेंजाइजी नहीं आई है। इस लीग में हिस्सा लेने वाली बाकी दो टीमें-आइस डिवाज और स्ट्राम क्वींस हैं। प्रत्येक टीम राउंड रोबिन फारमेट में एक दूसरे के साथ दो-दो मैच खेलेगी। छह मैचों की समाप्ति के बाद पहले स्थान पर आने वाला टीम फाइनल खेलने की योग्यता हासिल करेगी और दूसर फाइनलिस्ट का फैसला क्वालीफायर मैच के जरिए होगा। फाइनल मुकाबला पुरुष लीग के फाइनल से ठीक पहले हैदराबाद में होगा।

    खुद को दर्जनों कैमरों, जुनूनी दर्शकों और ग्लेमर की चमक के बीच खैलने के लिए किस तरह तैयार किया है, इस सवाल के जवाब में ममता ने कहा, "हमें अच्छा लगता है जब बड़े लोग कबड्डी देखने आते हैँ। हमारे लिए यह बड़ा प्लेटफार्म है। दो मिनट के लिए तमाम चीजें हमें प्रभावित कर सकती हैं लेकिन अंत में हम अपने खेल पर ध्यान लगाएंगी। हम इस चैलेंज में श्रेष्ठ प्रदर्शन के लिए तैयार हैं।"

    महिला कबड्डी चैलेंज के मुकाबले प्रो कबड्डी लीग के प्रत्येक चरण के अंतिम दिन खेले जाएंगे। मुम्बई में प्रो कबड्डी की शुरुआत 25 जून को हुई थी। 27 तक पुरुष टीमों के दो मैच खेले जाएंगे जबकि 28 को महिला टीम का एक मैच खेला जाएगा।

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