• पटेल आरक्षण आंदोलनः पुलिस फायरिंग में तीन लोगों की मौत, पीएम ने लोगों से शांति की अपील की

    अहमदाबाद। अहमदाबाद। आरक्षण की आग में जल रहा गुजरात फिर हिंसा की जद में है। कल रात से गुजरात में थमी हिंसा आज एक बार फिर भड़क गई। सूरत में आरक्षण की मांग को लेकर पटेल समुदाय के प्रदर्शनकारी व पुलिस एक बार फिर आमने-सामने आ गए। पुलिस कार्रवाई से आक्रोशित प्रदर्शनकारियों ने पुलिस का विरोध शुरू कर दिया। स्थिति पर काबू पाने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। आंसू गैस के गोले भी छोड़ने पड़े। आरक्षण की मांग को लेकर गुजरात में एक बार फिर भड़की हिंसा की गंभीरता को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात की अवाम से शांति बनाए रखने की अपील की है। मोदी ने कहा है कि हिंसा से किसी का लाभ नहीं है। ...

    अहमदाबाद।  आरक्षण की आग में जल रहा गुजरात फिर हिंसा की जद में है। कल रात से गुजरात में थमी हिंसा आज एक बार फिर भड़क गई। सूरत में आरक्षण की मांग को लेकर पटेल समुदाय के प्रदर्शनकारी व पुलिस एक बार फिर आमने-सामने आ गए। हिंसा पर काबू पाने के लिए केंद्र से रैपिड एक्शन फोर्स की टीम भेजी गई है। वायुसेना के विमान ग्लोबमास्टर इस यूनिट को लेकर पहुंचा। अबतक मिली जानकारी के मुताबिक गुजरात के बनासकांठा में पुलिस फायरिंग में तीन लोगों की मौत की खबर है। सेना ने पूरे इलाके में फ्लैग मार्च किया है। 

    आरक्षण की आग में जल रहा गुजरात फिर हिंसा की जद में है। कल रात से गुजरात में थमी हिंसा आज एक बार फिर भड़क गई। सूरत में आरक्षण की मांग को लेकर पटेल समुदाय के प्रदर्शनकारी व पुलिस एक बार फिर आमने-सामने आ गए। पुलिस कार्रवाई से आक्रोशित प्रदर्शनकारियों ने पुलिस का विरोध शुरू कर दिया। स्थिति पर काबू पाने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। आंसू गैस के गोले भी छोड़ने पड़े। आरक्षण की मांग को लेकर गुजरात में एक बार फिर भड़की हिंसा की गंभीरता को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात की अवाम से शांति बनाए रखने की अपील की है। मोदी ने कहा है कि हिंसा से किसी का लाभ नहीं है।  समुदाय ने आज प्रदेश भर में बंद का आह्वान किया है। बंद को देखते हुए प्रशासन ने एहतियात के ताैर पर अहमदाबाद, सूरत, मेहसाणा, कपोदरा, राजकोट, उंझा और विसनगर के कई इलाकों में कर्फ्यू लगा दिया है और टेलीफोन व इंटरनेट सेवाओं पर रोक लगा दी गई है। 2002 के दंगे के 13 साल बाद अहमदाबाद में पहली बार कर्फ्यू लगा है।

    मीडिया रिपोर्टों के अनुसार स्थिति की गंभीरता को देखते हुए हिंसाग्रस्त क्षेत्रों में बीएसएफ और आरएएफ की छह कंपनियों को तैनात किया गया है। हालांकि आज सुबह से कहीं से भी हिंसा की खबर नहीं है। केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने आज मुख्यमंत्री आनंदी बेन पटेल से फाेन पर बात की तथा राज्य में कानून व्यवस्था की समीक्षा की। उन्होंने राज्य सरकार को हरसंभव मदद का भरोसा दिया है। गृह मंत्रालय लगातार गुजरात सरकार के संपर्क में है।


    हिंसा से निपटने के लिए सीआरपीएफ के पांच हजार जवानों को गुजरात रवाना किया गया है। मामले में गृह राज्यमंत्री किरण रिजिजू ने कहा कि इस तरह से हिंसा भड़काना खतरनाक है। हालात राज्य सरकार के नियंत्रण में है। हम स्थिति पर पूरी नजर बनाए हुए हैं। उधर, मुख्यमंत्री आनंदी बेन ने ट्वीट कर लोगों से शांति और सौहार्द बनाए रखने की अपील की। उन्हाेंने लोगों से किसी भी प्रकार की अफवाह पर ध्यान न देने की अपील की है।

    मूख्यमंत्री ने पुलिस कमिश्नर से श्रृंखलाबद्ध घटनाओं की जांच के बाद दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। उधर, सूरत में आज डायमंड बाजार बंद रहेंगे। इसके साथ ही राजकोट में स्कूल और कॉलेजों काे बंद कर दिया गया है। कपोदरा और सरधाना में हिंसा के बाद आज एतहितयात के तौर पर कर्फ्यू लगा दिया गया है। इस बीच, आंदोलन के प्रमुख नेता हार्दिक पटेल ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है। उन्होंने कहा कि हिंसा से हमारा आंदोलन कमजोर हो सकता है।

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