• अनाधिकृत कॉलोनियों की रजिस्ट्री से जेब भरेगी दिल्ली सरकार

    नई दिल्ली ! दिल्ली सरकार ने राजधानी की अनाधिकृत कॉलोनियों में जमीन की खरीद-फरोख्त की रजिस्ट्री खोलने का ऐलान किया है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दावा किया है कि अपने चुनावी वादे के मुताबिक इन कॉलोनियों को नियमित करने की प्रक्रिया शुरू कर रहे हैं। कॉलेानियों का नियमन तीन स्तरीय प्रक्रिया से होगा और इसका पहला चरण है कॉलोनियों की सीमा तय होना। ...

    राजधानी के लोगों पर केजरीवाल सरकार मेहरबान  नई दिल्ली !  दिल्ली सरकार ने राजधानी की अनाधिकृत कॉलोनियों में जमीन की खरीद-फरोख्त की रजिस्ट्री खोलने का ऐलान किया है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दावा किया है कि अपने चुनावी वादे के मुताबिक इन कॉलोनियों को नियमित करने की प्रक्रिया शुरू कर रहे हैं। कॉलेानियों का नियमन तीन स्तरीय प्रक्रिया से होगा और इसका पहला चरण है कॉलोनियों की सीमा तय होना। अधिकारियों को निर्देश दिया है कि वह लगभग 15 दिनों में इस कार्य को पूरा करें और उसके बाद कॉलोनियों का  ले आउट प्लान बनेगा व फिर भू-उपयोग बदला जाएगा। इसके बाद कॉलोनियों में रजिस्ट्री शुरू होगी फिर नियमित घोषित की जा सकेगी। सरकार के फैसले पर ले आउट प्लान नगर निगम बनाएगा। वहीं डीडीए के रहमों करम पर भू-उपयोग बदला जाएगा। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की अध्यक्षता में हुई यहां उच्च स्तरीय बैठक में उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने अधिकारियों से कहा कि तुरंत नवीनतम वैज्ञानिक तरीकों का उपयोग कर इन कॉलोनियों की सीमाओं को तय किया जाए और सैटेलाइट और कुल समाधान के तरीकों की सीमाओं के सीमांकन के लिए इस्तेमाल किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सरकार सीमा निर्धारण के काम की निगरानी के लिए संबंधित विभाग और अधिकारियों से नियमित आधार पर एक रिपोर्ट लेगी ताकि कार्य को जल्द निपटाया जा सके। मुख्यमंत्री ने राजस्व विभाग को निर्देश दिए कि वह जितनी जल्दी हो सके इन कॉलोनियों में सीमाओं को तय करें ताकि एक बार कॉलोनी की सीमा तय हो जाने के बाद इन कॉलोनियों में संपत्तियों की खरीद-फरोख्त की रजिस्ट्री हो सकेगी। इसके साथ ही तीनों निगम को ले आउट प्लान के लिए भी आग्रह किया जाएगा और दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) को भू-उपयोग बदलने के लिए कहा जाएगा। सरकार ने इन कॉलोनियों के नियमितीकरण की प्रक्रिया अधर में लटके होने के लिए निगम को दोषी ठहराते हुए रजिस्ट्री शुरू करने के लिए गेंद एक बार फिर निगम के पाले में डाल दी है।

अपनी राय दें