नई दिल्ली ! रक्षा मंत्री मनोहर पार्रिकर ने देश की सशस्त्र सेनाओं के आधुनिकीकरण पर 130 अरब डॉलर के निवेश की सरकारी योजना का जिक्र करते हुए संकेत दिया है कि घरेलू और विदेशी कंपनियां चाहे तों इस अवसर का पूरा लाभ उठा सकती हैं। रक्षा मंत्री का यह बयान एक आधिकारिक वेब पोर्टल पर जारी किया गया है, जिसमें उन्होंने कहा है कि आने वाले 7 से 8 वर्षों के दौरान सशस्त्र सेनाओं को अत्याधुनिक बनाने के लिए सरकार ने 130 अरब डॉलर के निवेश की योजना तैयार की है। उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से मेक इन इंडिया की जिस नीति को प्रोत्साहित किया जा रहा है उसके तहत अब यह उद्योगों पर निर्भर करता है कि वह रक्षा क्षेत्र मे मौजूद निवेश की प्रचुर संभावनाओं का दोहन किस तरह करते हैं। रक्षा मंत्री ने कहा है कि देश की सशस्त्र सेनाएं दुनिया की तीसरी बड़ी सशस्त्र सेनाएं हैं जिनका सालाना बजट 38 अरब डालर है। पार्रिकर की ओर से रक्षा क्षेत्र में निवेश की प्रचुर संभावनाओं का संकेत ऐसे समय दिया गया है जब कि सशस्त्र सेनाओं के लिए विदशो से लड़ाकू जेट विमानों, पनडुब्बियों, हेलीकाप्टरों और मिसाइलों को खरीदने की लंबी फेहरिस्त तैयार है। रक्षा मंत्री ने कहा है कि रक्षा क्षेत्र में निवेश के मौके का सबसे ज्यादा फायदा घरेलू कंपनियों को ही मिलने वाला है क्योंकि सेना के लिए हथियार विदेशों से उसी हालत में मंगाए जाएंगे जब घरेलू स्तर पर इन्हें बना सकने का कोई भी विकल्प नहीं रहेगा। ऐसे हालात में देशी कंपनियों को स्वदेशी तकनीक से हथियारों के निर्माण का पूरा मौका है ।जिसका वह भरपूर लाभ उठा सकती हैं। इसके लिए उन्होंने घरेलू कंपनियों से खुद को उन्नत तकनीक से सुसज्जित करने का आह्वान किया है। रक्षा क्षेत्र में निवेश के मौके का सबसे ज्यादा फायदा घरेलू कंपनियों को ही मिलने वाला है क्योंकि सेना के लिए हथियार विदेशों से उसी हालत में मंगाए जाएंगे जब घरेलू स्तर पर इन्हें बना सकने का कोई भी विकल्प नहीं रहेगा : मनोहर पार्रिकरखर्च किए जाएंगे 130 अरब डालर : पार्रिकरघरेलू और विदेशी कंपनियां करेंगी निवेशदेश की सशस्त्र सेनाएं दुनिया की तीसरी बड़ी सशस्त्र सेनाएं हेलीकाप्टरों और मिसाइलों को खरीदने की लंबी फेहरिस्त तैयार