• युवाओं को छू गया ओबामा का 'अलविदा संदेश'

    नई दिल्ली ! नई दिल्ली और दक्षिणी दिल्ली की सीमा पर अगस्त क्रांति मार्ग पिछले दो दिनों से रंगाई पुताई से चमकने लगा था और बीती शाम से यहां सिरी फोर्ट ऑडीटोरियम के आसपास पुलिस और बैरिकेड्स ही दिखाई दे रहे थे। कमला नेहरू कॉलेज और गार्गी कॉलेज में छुट्टी का ऐलान कर दिया गया था और प्रिंसिपल के पास जब करीबन दो दर्जन लड़कियां तलब हुईं तो उन्हें नहीं पता था कि उनके हाथ ऐसी चाबी आ रही है, जिससे वह सीधे अमरीकी राष्टï्रपति बराक ओबामा के सामने बैठेंगी।...

    अनिल सागरअगस्त क्रांति मार्ग पर ओबामा ने तैयार की क्रांति की जमीन नई दिल्ली !   नई दिल्ली और दक्षिणी दिल्ली की सीमा पर अगस्त क्रांति मार्ग पिछले दो दिनों से रंगाई पुताई से चमकने लगा था और बीती शाम से यहां सिरी फोर्ट ऑडीटोरियम के आसपास पुलिस और बैरिकेड्स ही दिखाई दे रहे थे। कमला नेहरू कॉलेज और गार्गी कॉलेज में छुट्टी का ऐलान कर दिया गया था और प्रिंसिपल के पास जब करीबन दो दर्जन लड़कियां तलब हुईं तो उन्हें नहीं पता था कि उनके हाथ ऐसी चाबी आ रही है, जिससे वह सीधे अमरीकी राष्टï्रपति बराक ओबामा के सामने बैठेंगी।  कमला नेहरू और गार्गी कॉलेज की करीबन दो-दो दर्जन लड़कियों ने आज उस गुफ्तगू में शिरकत की जहां बराक ओबामा ने फिल्मी डायलॉग के साथ दिल्ली में महिला हिंसा के अध्याय को भी कुरेदा। नाम रटने में माहिर ओबामा ने जब यहां परिचय करवाने वाली नेहा को गले लगाया तो वह खुशी से प्रफुल्लित दिखी। सफदरजंग मकबरा में काम करने वाले एक मजदूर के बेटे विशाल को ओबामा ने याद किया और उससे मुलाकात भी की। विशाल इंजीनियरिंग करना चाहते हैं और उनके पिता अब स्कूल खोलने का सपना संजो रहे हैं। गार्गी कॉलेज की काजल ने ऑडिटोरियम के भीतर की कहानी बताते हुए कहा कि पहली बार ओबामा से मिलने की उपलब्धि मिली और उन्होने अमरीका और भारत को अपना बताया यह अच्छा लगा। ओबामा ने कहा है कि खुद को बदलो तभी देश बदलेगा यह वास्तव में छू गया। 'एक ही गुलदस्ते के फूल हैं हम।Ó यह सुनकर इंग्लिश ऑनर्स थर्ड ईयर की स्टूडेंट ईशा सूद को अच्छा तो लगा लेकिन सवाल जवाब का मौका न मिलने से दुख हुआ। ईशा मानती है कि ओबामा के भाषण बहुत प्रभावी होते हैं आज जो भी उन्होने बोला उसमें रिसर्च दिखा। दिलवाले दुल्हनिया ले जाएंगे का डायलॉग बोलना तो मल्लिका, राघवी, शैजा को खूब भाया। ओबामा का फिल्मी अभिनेता के तरह आना हाथ हिलाने के तरीके पर फिदा कई लड़कियों ने कहा कि वहां मौजूद हर सुनने वाले की प्रतिक्रियाएं बहुत अच्छी थी। ओबामा बहुत मिलनसार दिखे। हालांकि राजनीति शास्त्र पढऩे वाली छात्राओं को यह बात हजम नहीं हुई कि भारत और अमरीका सहयोगी और बराबर हैं। सेकेंड, थर्ड ईयर की कई स्टूडेंट यहां मौजूद थीं और उन्होंने कहा कि 16 दिसम्बर निर्भया कांड का बंद शब्दों में ओबामा ने जिक्र कर हमारे समाज को आईना भी दिखाया। हालंाकि ओबामा से मिलने की यह ख्वाहिश सुबह आठ बजे सभागार में पहुंचने के बाद दोपहर को पूरी हुई। इस दौरान यहां सभी कॉलेज स्कूल बंद थे। सड़क पूरी तरह से बंद थी। ओबामा ने यहां स्लम एरिया के तीन बच्चों से भी मुलाकात की और इस मौके पर मौजूद कैलाश सत्यार्थी ने बताया कि किस प्रकार बाल मजदूरी से उन्हें मुक्त करवाया गया है। कॉलेज की छात्राओं ने इस बात पर मिशेल की भी प्रशंसा की कि उन्होंने बहुत मन से मुलाकात की। ओबामा द्वारा वर्किंग क्लास की महिलाओं की समस्याओं पर बोलने, सामाजिक मुद्दों, सामाजिक विकास और महिला सशक्तिकरण पर जोर देने पर तालियां जरूर बजाईं। 

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